जीवन की दौड़-धूप में

जीवन की दौड़-धूप में जीवन की दौड़-धूप में कब वक्त मिला,कभी बैठकर सोचा, क्या पाया, क्या खोया,हर रोज़ की उलझन में उलझा रहा मन,क्या सही, क्या गलत, कभी नहीं तौला। जब आँखें खुलीं, देखा चारों ओर भीड़ थी,हर कोई उलझा था अपनी-अपनी चिंता में,मंजिलें अनजानी, राहें थीं धुंधली,चाहतें तो थीं, पर मंज़र धुंधले थे। हर … Read more

हर कदम पे कोशिश

हर कदम पे कोशिश राह में अगर कांटे बिछ जाएं,हिम्मत कभी कमजोर नहीं हो पाती।कठिनाई से लड़ते जो बढ़ते हैं,उनकी कभी हार नहीं हो पाती। नन्ही चिड़िया जो घोंसला बनाए,तिनका-तिनका जोड़े, फिर टूट जाए।फिर से नए जोश से उड़ान भरती,उसकी मेहनत कभी बेकार नहीं जाती। बादलों के परे सूरज चमकता,घनघोर अंधेरों में भी उम्मीद दमकता।जो … Read more

जो बीत गया, वह सपना था

जो बीत गया, वह सपना था जीवन में एक सपना था,हर दिन उसका अपना था।वह बिखर गया तो बिखर गया,पर आसमान की छांव देखो,कितने सपने वहां टूटे। कितने आंसू वहीं छूटे,जो छूट गए, फिर कहां मिले।पर बोलो टूटे सपनों पर,कब कोई आंसू बहाता है।जो बीत गया, वह सपना था। जीवन में एक फूल खिला,उस पर … Read more

अडिग प्राण: धरा का गौरव

अडिग प्राण: धरा का गौरव मेरे पर्वत! ओ अडिग प्राण,तू है धरती का दिव्य गान।अचल, अभेद्य, तू अनंत,धरा की चिर धरोहर, शांत। युगों से खड़ा तू मौन, महान,तू देख रहा है समय का ज्ञान।तूने सहा कितना तूफान,फिर भी खड़ा है, अडिग प्राण। ओ ऊँचाई के उस सरताज,तू है धरा का गौरव साज।तूने देखा हर ऋतु … Read more

नवीन दिशा की ओर

नवीन दिशा की ओर सपनों की किरण जगाकर, चल नवीन दिशा की ओर, संघर्षों से न घबराकर, तू अपनी राहें खोजता चल। अंधकार में प्रकाश बन, तू बन जा दीपक अनमोल, हर बंधन को तोड़कर, तू स्वतंत्रता की सांस लेता चल। दृढ़ संकल्प को लेकर, मंजिल की ओर कदम बढ़ा, हर बाधा को पार कर, … Read more